इस पोस्ट हम सर्वनाम क्या है , सर्वनाम के भेद,सर्वनाम शब्दों की रूप-रचना के बारे में जानेंगे
सर्वनाम
परिभाषा-संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होने वाले शब्द सर्वनाम कहलाते हैं; जैसे-वह, क्या, कौन, तुम, उसका, मैंने आदि।
उदाहरणार्थ-
(क) राम और उसका भाई वन में गए।
(ख) मैंने गणित का गृहकार्य कर लिया है।
(ग) तुम चलो मैं स्वयं आ जाऊँगा।
(घ) उसने गरीब को भोजन दिया।
उपर्युक्त वाक्यों में उसका, मैंने, तुम, मैं, स्वयं, उसने सभी शब्द सर्वनाम हैं। अतः सर्वनाम शब्द संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होते हैं।
सर्वनाम के भेद-
मूलतः सर्वनाम के पाँच भेद हैं। निजवाचक सर्वनाम को भी अब इसका भेद स्वीकारा गया है। अतः इस प्रकार अब सर्वनाम के छह भेद माने जाते हैं-
1. पुरुषवाचक सर्वनाम
2. निजवाचक सर्वनाम
3. निश्चयवाचक सर्वनाम
4. अनिश्चयवाचक सर्वनाम
5. संबंधवाचक सर्वनाम
6. प्रश्नवाचक सर्वनाम।
1. पुरुषवाचक सर्वनाम-
वे सर्वनाम जो बोलते या कहते हैं, सुनते हैं या जिनके बारे में कहा जाता है, वे पुरुषवाचक सर्वनाम कहलाते हैं।
जैसे-
(1) तुम खाना खा लो।
(2) मैं तैराकी सिखाने गया था।
(3) वे जो बाहर घूम रहे हैं उन्हें भी बुला लाओ।
इन वाक्यों में 'तुम', 'मैं', वे पुरुषवाचक सर्वनाम हैं। क्योंकि 'तुम' सुनने वाले के लिए, 'मैं' कहने वाले के लिए तथा 'वे' कहने व सुनने वाले के अतिरिक्त किसी अन्य व्यक्ति के लिए प्रयोग किए गए हैं।
पुरुषवाचक सर्वनाम के तीन भेद हैं-
(क) उत्तम पुरुष सर्वनाम- वक्ता (कहने वाला) अपने लिए जिन सर्वनामों का प्रयोग करता है, उसे उत्तम पुरुष सर्वनाम कहते हैं; जैसे-मैं, हम, मुझे, मुझको, हमें, हमको आदि।
(ख) मध्यम पुरुष सर्वनाम- श्रोता (सुनने वाले) से बात करते हुए उनके नाम के बदले जिन सर्वनामों का प्रयोग होता है, उन्हें मध्यम पुरुष सर्वनाम कहते हैं; जैसे-तुम, तुम्हारा, तू, आपका, तुम्हें, तुझे आदि।
(ग) अन्य पुरुष सर्वनाम- जिसके बारे में बात करने या लिखने में उसके नाम के बदले जो सर्वनाम होते हैं, उन्हें अन्य पुरुष सर्वनाम कहते हैं; जैसे-वह, वे, यह, ये, उसे, इन्हें, उन्हें, उसने, उन्होंने आदि।
2. निश्चयवाचक सर्वनाम-
जिन सर्वनामों से किसी व्यक्ति, वस्तु या घटना आदि का निश्चित बोध होता हो, उसे निश्चयवाचक सर्वनाम कहते हैं। निश्चयवाचक सर्वनाम को संकेतवाचक सर्वनाम भी कहते हैं; जैसे-
(1) वह कौन है?
(2) यह तो मोहन है।
निकट की वस्तुओं के लिए-यह, ये।
दूर की वस्तुओं के लिए-वह, वे।
जैसे-
(1) तुम्हारा खाना यह नहीं वह है।
(2) यह सीता है। वह सावित्री है।
3. अनिश्चयवाचक सर्वनाम-
जिन सर्वनामों से किसी निश्चित पदार्थ या व्यक्ति का बोध नहीं होता, उसे अनिश्चयवाचक सर्वनाम कहते हैं; जैसे-कोई, किसी, कुछ आदि।
जैसे-
(1) आपसे मिलने कोई आया है।
(2) पानी में कुछ गिरा है।
इन वाक्यों में 'कोई' तथा 'कुछ' शब्द अनिश्चयवाचक सर्वनाम है, क्योंकि इनसे किसी निश्चित प्राणी या पदार्थ का बोध नहीं होता है।
कौन मिलने आया है' तथा 'क्या गिरा है?
इस बारे में पक्के तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता।
4. निजवाचक सर्वनाम-
जो सर्वनाम शब्द निज के लिए (स्वयं अपने लिए) प्रयुक्त होता है, उसे निजवाचक सर्वनाम कहते हैं; जैसे-आप, अपने-आप, मैं, स्वयं, खुद, निज, स्वतः आदि।
1.मैं खुद खाना बनाऊँगा।
2.हमें अपना कार्य स्वयं करना चाहिए।
3. वह अपने-आप ही चला गया।
4. मैं आप चला जाऊँगा।
निजवाचक सर्वनाम वस्तुतः पुरुषवाचक सर्वनाम का ही एक भेद है, किंतु कुछ विद्वान इसे अलग मानते
5. संबंधवाचक सर्वनाम-
जिस सर्वनाम से व्यक्ति, वस्तु या घटना आदि का किसी अन्य व्यक्ति, वस्तु या घटना से संबंध का बोध हो, उसे संबंधवाचक सर्वनाम कहते हैं। अथवा "जिस सर्वनाम से अगले या पिछले उपवाक्य के संज्ञा या सर्वनाम से संबंध ज्ञात होता है, उसे संबंधवाचक सर्वनाम कहते हैं;
जैसे-
(1) जैसा करोगे वैसा भरोगे।
(2) जो सोता है, सो खोता है।
(3) जिसकी लाठी, उसकी भैंस।
(4) जैसी करनी, वैसी भरनी
उपर्युक्त वाक्यों में दो-दो उपवाक्य हैं जिन्हें क्रमशः 'जैसा-वैसा, जो-सो, जिसकी-उसकी तथा जैसी वैसी' से जोड़ते हैं। इनमें जैसा, जो, जिसकी तथा जैसी संबंधवाचक सर्वनाम हैं और इनके साथ आने वाले सर्वनाम शब्द वैसा, सो, उसकी, वैसी, इनके नित्य संबंधी हैं।
है,
6. प्रश्नवाचक सर्वनाम-
जिस सर्वनाम शब्द का प्रयोग प्रश्न पूछने के लिए अथवा कुछ जानने के लिए किया जाता प्रश्नवाचक सर्वनाम कहते हैं। हिंदी में केवल दो ही प्रश्नवाचक सर्वनाम हैं-कौन और क्या। 'कौन' का प्रयोग किसी प्राणी के लिए किया जाता है तथा 'क्या' का प्रयोग किसी वस्तु के लिए।
जैसे-
(1) कौन आया था?
(2) क्या लाया था?
(3) कमरे में कौन बैठा है?
(4) वह क्या चाहता है?
इन वाक्यों में कौन तथा क्या प्रश्नवाचक सर्वनाम हैं। इनमें कौन' का प्रयोग किसी व्यक्ति के लिए किया गया है जबकि 'क्या' का प्रयोग किसी वस्तु के लिए। कौन और क्या के अतिरिक्त किसे, किसने, कब आदि शब्दों का प्रयोग भी प्रश्नवाचक सर्वनाम के लिए किया जाता है।
जैसे-
(1) तुम विद्यालय कब जाओगे?
(2) तुम किससे बातें कर रहे थे?
(3) यह पुस्तक तुम्हें किसने दी?
ध्यान रहे कि कभी-कभी 'क्या' का प्रयोग प्राणीवाचक तथा 'कौन' का प्रयोग किसी अप्राणीवाचक अर्थात वस्तु के लिए भी होता है।
जैसे-
(1) आजकल आप क्या हैं?
(2) आप कौन-सा चित्र चाहते हैं?
पहले वाक्य में 'क्या' का प्रयोग किसी व्यक्ति के लिए तथा दूसरे वाक्य में कौन-सा का प्रयोग वस्तु के लिए किया गया है।
सर्वनामों की रूप-रचना
(Transformation of Pronoun)
हम जानते हैं कि कारक-चिह्न संज्ञा शब्दों में विकार उत्पन्न करते हैं। ठीक उसी प्रकार सर्वनाम शब्दों के साथ कारक-चिह्नों का प्रयोग होने पर, उनके रूप में विकार आ जाता है।
1. सर्वनाम शब्दों पर पुरुष, वचन तथा कारकों का प्रभाव पड़ता है; लिंग का नहीं।
2. सर्वनाम शब्दों की रूप-रचना में संबोधन नहीं होता।
सर्वनाम शब्दों की रूप-रचना
पुरुषवाचक, उत्तम पुरुष (मैं) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | मैं, मैंने | हम, हमने |
कर्म | मुझे, मुझको | हमें, हमको |
करण | मुझसे, मेरे द्वारा | हमसे, हमारे द्वारा |
संप्रदान | मेरे लिए, मुझको | हमारे लिए, हमको |
अपादान | मुझसे | हमसे (जुदाई) |
संबंध | मेरा, मेरी, मेरे | हमारा, हमारी, हमारे |
अधिकरण | मुझमें, मुझ पर | हममें, हम पर |
पुरुषवाचक, मध्यम पुरुष (तू) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | तू, तूने | तुम, तुमने |
कर्म | तुझे, तुझको | तुम्हें, तुमको |
करण | तुझसे, तेरे द्वारा | तुमसे, तुम्हारे द्वारा |
संप्रदान | तेरे लिए, तुझसे | तुम्हारे लिए, तुमको |
अपादान | तुझसे | तुमसे |
संबंध | तेरा, तेरी, तेरे | तुम्हारा, तुम्हारी, तुम्हारे |
अधिकरण | तुममें, तुझ पर | तुममें, तुम पर |
पुरुषवाचक, मध्यम पुरुष (वह) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | वह, उसने | वे, उन्होंने |
कर्म | उसे, उसको | उन्हें, उनको |
करण | उससे, उसके द्वारा | उनसे, उनके द्वारा |
संप्रदान | उसके लिए, उसको | उनके लिए, उनको |
अपादान | उससे | उनके (जुदाई) |
संबंध | उसका उसके उसकी | उनका, उनके, उनकी |
अधिकरण | उसमें, उस पर | उनमें, उन पर |
निश्चयवाचक सर्वनाम (यह) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | यह, इसने | ये, इन्होंने |
कर्म | इसे, इसको | इन्हें, इनको |
करण | इससे | इनसे |
संप्रदान | इसे, इसको, इसके लिए | इन्हें, इनको, इनके लिए |
अपादान | इससे | इनसे |
संबंध | इसका, इसकी, इसके | इनका, इनकी, इनके |
अधिकरण | इस पर, इसमें | इन पर, इनमें |
अनिश्चयवाचक सर्वनाम (कोई) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | कोई, किसी ने | कोई, किन्हीं ने |
कर्म | किसी को | किन्हीं को |
करण | किसी से, किसी के द्वारा | किन्हीं से, किन्हीं के द्वारा |
संप्रदान | किसी को, किसी के लिए | किन्हीं को, किन्हीं के लिए |
अपादान | किसी से | किन्हीं से |
संबंध | किसका, किससे, किसकी | किन्हीं का, किन्हीं के, किन्हीं की |
अधिकरण | किसी में, किसी पर | किन्हीं में, किन्हीं पर |
प्रश्नवाचक सर्वनाम (कौन) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | कौन, किसने | कौन, किन्होंने |
कर्म | किसे, किसको | किन्हें, किनको |
करण | किससे, किसके द्वारा | किनसे, किनके द्वारा |
संप्रदान | किसे, किसको, किसके लिए | किन्हें, किनको, किनके लिए |
अपादान | किससे | किनसे (जुदाई) |
संबंध | किसका, किसके, किसकी | किनका, किनके, किनकी |
अधिकरण | किसमें, किस पर | किनमें, किन पर |
संबंधवाचक सर्वनाम (जो) |
कारक | एकवचन | बहुवचन |
कर्ता | जो, जिसने | जो, जिन्होंने |
कर्म | जिसे, जिसको | जिन्हें, जिनको |
करण | जिससे | जिनसे |
संप्रदान | जिसके लिए, जिसको | जिनके लिए, जिनको |
अपादान | जिससे | जिसके (जुदाई) |
संबंध | जिसका, जिसके, जिसकी | जिनका, जिनके, जिनकी |
अधिकरण | जिसमें, जिस पर | जिनमें, जिन पर |
Conclusion-
इस पोस्ट हम सर्वनाम क्या है , सर्वनाम के भेद,सर्वनाम शब्दों की रूप-रचना के बारे में जाना।
इन्हें भी देखें-
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